उदित वाणी, रांची : मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के नेतृत्व में विदेशी निवेशकों को आकर्षित करने के लिए राज्य की उच्चस्तरीय टीम अब अगले चरण में जापान, आस्ट्रेलिया व ताइवान का दौरा करेगी. स्पेन व स्वीडन का यात्रा करने के बाद लौटे उच्चस्तरीय टीम के सदस्य उद्योग सचिव अरवा राजकमल ने सूचना भवन में आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में उक्त जानकारी साझा की. प्रेस कांफ्रेंस में टीम के अन्य सदस्य भी शामिल थे. उद्योग सचिव ने बताया कि विदेश दौरे का उद्येश्य झारखंड का ब्रांड वैल्यू बढ़ाना और विदेशी पूंजी निवेशकों को आकर्षित करते हुए प्रत्यक्ष विदेशी निवेश एफडीआई का राज्य में प्रवाह करना है.
उन्होंने बताया कि एफडीआई मामले में झारखंड 8वें स्थान में है. जबकि सरकार का लक्ष्य कम से कम देश की डीजीपी में राज्य की हिस्सेदारी 2.5 प्रतिशत के बराबर एफडीआई लाने की है. जबकि अभी विदेशी निवेश मात्र 0.98 प्रतिशत है. उन्होंने बताया कि स्पेन व स्वीडन की यात्रा सफल रही और नौ निवेशकों के प्रस्ताव भी मिले हैं. इनमें से दो कंपनियों से 320 मिलियन यूरो [3060 करोड़] के निवेश के प्रस्ताव पर सहमति हो चुकी है. जिनमें स्पेन में टेस्ला ग्रुप एस के चेयरमैन दुसान लिचार्ड्स ने ग्रुप की रोमानिया गिगिया फैक्ट्री परियोजना के समान ही बैटरी भंडारण उत्पादन के निर्माण के लिए लगभग 150 मिलियन यूरो के निवेश का प्रस्ताव दिया है. इसके अलावे रांची में 120-170 मिलियन यूरो के निवेश से एक मेगा सम्मेलन और व्यापार प्रदर्शनी केंद्र विकसित करने के लिए भी एलओआई प्राप्त हुआ है.
इसके अलावा अबर्टिस कंपनी ने पीपीपी मोड में झारखंड में सड़क निर्माण में, जिट्रोन कंपनी ने मैन्यूफैक्चरिंग में, नोवार्गी व ग्रीन सोलर ने क्लीन एनर्जी में ज्वाइंट वेंचर का प्रस्ताव दिया है. कैटालुनायार ने शिक्षा व आइवीएएल स्वीडन ने वेस्ट वाटर मैनेजमेंट में टेक्निकल सहयोग पर सहमति दी है. उन्होंने बताया कि बिजनेस डेवलपर इंटरनेशनल रिलेशंस एंड डेलिगेशन गोथेनबर्ग एबी विभिन्न देशों में हर साल मेगा सम्मेलनों व व्यापार प्रदर्शनी केन्द्र आयोजित कर 36 हजार करोड़ रूपये का कारोबार करता है. वहीं उन्होंने बताया कि डी गावा संग्रहालय के तर्ज पर पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए चाईबासा में पुराने खनन स्थल को जियोलॉजिकल म्यूजियम में बदलने का लक्ष्य है. डी गावा में एक पुराने खनन क्षेत्र को भूगर्भीय संग्रहालय में बदला गया है. खनन कार्यों में भारी ट्रकों की बढ़ती मांग को देखते हुए झारखंड में एक मेगा विनिर्माण इकाई स्थापित करने के लिए वोल्वो को आमंत्रित किया गया है. जबकि राज्य सरकार का लक्ष्य राज्य में इलेक्ट्रिक वेकिल्स विनिर्माण के क्षेत्र में बिशेष फोकस है.
उद्योग सचिव ने बताया कि निवेशकों से मिले सुझाव के तहत इलेक्ट्रिक व्हीकल पॉलिसी व अन्य नीतियों में बदलाव किया जायेगा. झारखंड में कोई स्टार्टअप पॉलिसी भी नहीं है. स्टार्टअप पॉलिसी बनाने की दिशा में शीघ्र कदम उठाया जायेगा. राज्य सरकार द्वारा राज्य में छोटे-छोटे हाइड्रो प्राजेक्ट व लाह प्रोडक्ट के क्षेत्र में भी निवेश का प्रस्ताव दिया गया है. उच्चस्तरीय प्रतिनिधिमंडल द्वारा दोनों देशों में 50 से अधिक वैश्विक निवेशकों के समक्ष झारखंड में विनिर्माण इलेक्ट्रिक वाहन, खनिज अन्वेषण और प्रसंस्करण तथा स्वच्छ ऊर्जा से संबंधित क्षेत्रों में निवेश के लिए निवेशकों से विस्तार से बातचीत की गई है. स्पेन के प्रसिद्ध आरसीडी एस्पेन्योल फुटबॉल क्लब ने झारखंड में खेलों खासकर फुटबॉल के विकास के लिए प्रशिक्षकों को प्रशिक्षण देने का प्रस्ताव दिया है.
इसे लेकर एमओयू पर भी सहमति बनी है. वहीं उद्योग सचिव ने बताया कि निवेशकों के प्रस्ताव लेकर आने में अभी लगभग एक माह से ज्यादा का समय लग सकता है. उन्होंने बताया कि इस बीच झारखंड में निवेश की सुगम सुविधा के लिए यूरोपीय कंपनियों को समर्पित यूरोप निवेश डेस्क स्थापित किया जायेगा. साहिबगंज-गोविंदपुर इंडस्ट्रियल कॉरिडोर के आसपास इंडस्ट्रियल भूमि विकसित की जायेगी. प्रेस कांफ्रेंस में उद्योग निदेशक सुशांत गौरव, खनन आयुक्त राहुल कुमार सिन्हा, जिडको के एमडी वरुण रंजन समेत कई विभागीय अधिकारी मौजूद थे.
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