सितंबर में जिउतिया, विश्वकर्मा पूजा और नवरात्रि जैसे बड़े त्योहार
उदित वाणी, जमशेदपुर: गणेशोत्सव की शुरूआत के साथ शहर में बड़े त्योहारों की दस्तक भी हो चुकी है. सितंबर माह में ही कई बड़े त्योहार पड़ रहे हैं.
यों तो हिंदू धर्म में पूरे 12 माह कई व्रत और त्योहार पड़ते हैं. इनमें अलग-अलग देवी-देवताओं से संबंधित व्रत-त्योहारों को मनाया जाता है. सितंबर में हिंदू पंचांग के अनुसार भाद्रपद माह का समापन होता है और अश्विन माह की शुरुआत होती है.
इन दोनों माह में हिंदू धर्म से जुड़े खास और महत्वपूर्ण व्रत-त्योहार पड़ते हैं. इसलिए धार्मिक दृष्टिकोण से भी सितंबर का महीना महत्वपूर्ण माना जाता है. सितंबर माह इसलिए भी हिंदू धर्म के लिए खास माना जाता है. क्योंकि इसी माह पितृपक्ष पड़ते हैं.
मृत पितरों की आत्मा की शांति के लिए इसी माह तर्पण, पिंडदान और श्राद्धकर्म किए जाएंगे. इस माह भगवान विष्णु का पर्व अनंत चतुर्थी मनाई जाएगी और इस दिन बप्पा (गणपति) का विसर्जन किया जाएगा. इसी माह माताएं अपने संतान की दीर्घायु और स्वास्थ्य की कामना के लिए जीवित्पुत्रिका (जिउतिया) का कठोर निर्जला व्रत रखेंगी और इसी माह शारदीय नवरात्र भी शुरू होंगे.
अनंत चतुर्दशी
अनंत चतुर्दशी का त्योहार 09 सिंतबर 2022 को पड़ रहा है. इस दिन भगवान श्रीहरि विष्णु की पूजा की जाती है और व्रत रखा जाता है. साथ ही इस दिन दस दिवसीय गणेशोत्सव का समापन होता है और बप्पा की मूर्ति का विसर्जन किया जाता है.
पितृपक्ष
पितृपक्ष की शुरुआत 10 सितंबर 2022 से हो रही है जोकि 25 सितंबर तक रहेगी. पितृपक्ष में पितरों की आत्मा की शांति के लिए दान, तर्पण, पिंडदान और श्राद्ध किए जाते हैं. इससे पितरों की आत्मा को शांति मिलती है और वे आशीर्वाद देते हैं.
जीवित्पुत्रिका व्रत
जीवित्पुत्रिका या जिउतिया का व्रत 17 सितंबर को रखा जाएगा. माताएं इस व्रत को संतान के लिए रखती हैं. इसमें पूरे दिन निर्जला व्रत रखा जाता है. साथ ही इस दिन कल-कारखानों से जुड़े लोगों द्वारा विश्वकर्मा पूजा भी मनाई जाएगी.
शारदीय नवरात्रि
पूरे साल में चार नवरात्र पड़ते हैं. लेकिन अश्विन माह में पडऩे वाली नवरात्रि यानी शारदीय नवरात्रि खास मानी जाती है. पितृपक्ष के समाप्त होते ही 26 सितंबर से शारदीय नवरात्र शुरू हो जाएगा. इसमें पूरे 9 दिनों तक देवी दुर्गा के नौ स्वरूपों की पूजा की जाती है.
सितंबर में पडऩे वाले व्रत-त्योहारों की पूरी सूची
6 सितंबर : परिवर्तनी एकादशी
8 सितंबर : प्रदोष व्रत (शुक्लपक्ष)
9 सितंबर : अनंत चतुर्दशी
10 सितंबर : भाद्रपद पूर्णिमा व्रत- श्राद्ध (पितृपक्ष) प्रारम्भ
13 सितंबर : संकष्टी चतुर्थी
17 सितंबर : कन्या संक्रांति -जीवित्पुत्रिका व्रत (जिउतिया), अशोकाष्टमी, विश्वकर्मा पूजा
21 सितंबर : इंदिरा एकादशी
23 सितंबर : प्रदोष व्रत (कृष्णपक्ष)
24 सितंबर : मासिक शिव रात्रि
25 सितंबर : आश्विन अमावस्या- श्राद्ध (पितृपक्ष) समाप्त
26 सितंबर : शारदीय नवरात्रि का शुभारंभ – प्रतिपदा, महाराजा अग्रसेन जयंती
उदित वाणी टेलीग्राम पर भी उपलब्ध है। यहां क्लिक करके आप सब्सक्राइब कर सकते हैं।