संयोजकों ने साफ कर दिया-वे इस मामले में कुछ नहीं कर सकते
कर्मचारियों में यूनियन के प्रति जबर्दस्त रोष, एक माह से खाना नहीं खा रहे कर्मचारी
उदित वाणी,जमशेदपुर: टाटा कमिंस में गोदी यूनियन की कारगुजारियों का खामियाजा अब टाटा कमिंस प्रबंधन को भुगतना पड़ रहा है. टाटा कमिंस में हुए ग्रेड से नाराज कर्मचारी एक माह से कैंटीन jamshedका बहिष्कार कर रखे हैं.
इनका गुस्सा यूनियन पदाधिकारियों पर है, जो कर्मचारी हित का राग अलापते-अलापते उनके साथ धोखा कर गये. कर्मचारियों में यूनियन अध्यक्ष और महासचिव को लेकर इस कदर रोष और गुस्सा है कि वे कर्मचारियों के बीच जाने से डर रहे हैं. ऐसे में शुक्रवार को टाटा कमिंस के वीपी मनीष झा और प्लांट हेड रामफल नेहरा ने कंपनी के संयोजकों को बुलाकर बात की और समझाया कि वे कर्मचारियों को कैंटीन में खाना खाने के लिए समझाए.
इस पर संयोजकों ने कहा कि कर्मचारियों का गुस्सा यूनियन को लेकर है. ऐसे में वे कर्मचारियों को खाना खाना के लिए नहीं कह सकते, क्योंकि न तो वे उनकी बातों को मानेंगे और न ही यह उनके अधिकार क्षेत्र में है. संयोजकों ने प्रबंधन की ओर से प्रदान किए गये नाश्ता-पानी भी लेने से मना कर दिया और कहा कि जब तक कर्मचारी खाना नहीं खा रहे, वे भी नहीं खाएंगे क्योंकि वे भी उन्हीं के बीच के है. क्यों गुस्सा है कंपनी के कर्मचारी टाटा कमिंस कर्मचारी यूनियन ने इस साल का ग्रेड तीन साल की बजाय चार साल के लिए किया है. यही नहीं इस ग्रेड में प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष बढ़ोतरी 18 हजार रूपए की है, जिसमें पहली बार एजीपी यानि एसोसिएट ग्रॉथ प्लान के बेनेफिट्स को भी शामिल किया गया है. इससे कर्मचारियों में यूनियन के प्रति काफी नाराजगी है. उल्लेखनीय है कि इस यूनियन की नासमझी के चलते ग्रेड में 15माह से ज्यादा की देरी हुई.
उदित वाणी टेलीग्राम पर भी उपलब्ध है। यहां क्लिक करके आप सब्सक्राइब कर सकते हैं।