उदित वाणी चांडिल: सुवर्णरेखा बहुउद्देशीय परियोजना (एसएमपी) के अंतर्गत 11 अस्थायी कर्मचारियों द्वारा बीते 25 जून से अनिश्चितकालीन आमरण अनशन किया जा रहा है। चांडिल स्थित परियोजना के अंचल सह प्रमंडल कार्यालय के मुख्य गेट के समीप कुल 11 अस्थायी कर्मचारी अनशन पर बैठे हैं। अनशनकारियों द्वारा बताया कि वह पिछले 10 -12 वर्ष से परियोजना के अंतर्गत विभिन्न कार्यालयों एवं गेस्ट हाऊस पर कार्यरत थे, लेकिन विभाग ने उन्हे बिना किसी कारण के अचानक उन्हें काम से हटा दिया है। स्थानीय जनप्रतिनिधियों एवं विभागीय अधिकारियों को भी इसकी जानकारी दी गई हैं लेकिन किसी तरह की सुनवाई नहीं हुई। इसके बाद सभी कर्मियों ने 25 जून से आमरण अनशन शुरू किया है।शुक्रवार को आजसू पार्टी के केंद्रीय महासचिव हरेलाल महतो अनशन स्थल पर पहुंचकर उक्त विषय को लेकर जानकारी ली। उन्होंने परियोजना के कर्मचारियों के आंदोलन को समर्थन किया। हरेलाल महतो ने कहा कि राज्य सरकार ने स्वयं नियम बनाया है कि 10 वर्ष से काम रहे अस्थायी कर्मचारियों का स्थायीकरण किया जाएगा, इसके बाद भी गरीब कर्मियों को काम से हटा देना कहीं से उचित नहीं है। हरेलाल महतो ने कहा कि वह इस विषय को लेकर सुवर्णरेखा बहुउद्देश्यीय परियोजना के प्रशासक से मुलाकात करके कर्मियों के स्थायीकरण की मांग रखेंगे। वहीं, राज्य सरकार और परियोजना के अधिकारियों के खिलाफ हाईकोर्ट जाएंगे। हरेलाल महतो ने कहा कि कर्मियों को न्याय दिलाने के लिए हाईकोर्ट में अपील भी करेंगे। उक्त अंशन पर बैठे प्रदर्शनकारियों में तीन की हालत को बिगड़ते देख श्री महतो ने अनुमंडल पदाधिकारी को फोन पर जानकारी दी और उनके मांगो को त्वरित संज्ञान में लेते हुए निराकरण करने का आग्रह किया।
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