उदित वाणी, जमशेदपुर: कल्याण मंत्री चमरा लिंडा ने मंगलवार को मोरहाबादी स्थित कल्याण कॉम्प्लेक्स में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी जिलों के कल्याण पदाधिकारियों, प्रोजेक्ट डायरेक्टर, आई.टी.डी.ए. और प्रमंडलीय उप-निदेशकों के साथ साइकिल और छात्रवृत्ति वितरण कार्य की प्रगति की समीक्षा की.
कोडरमा और रामगढ़ जिलों में नाराजगी
मंत्री ने कोडरमा और रामगढ़ जिलों में प्री-मैट्रिक छात्रवृत्ति वितरण की शून्य प्रगति पर नाराजगी जताई. उन्होंने संबंधित अधिकारियों को तीन दिनों के भीतर छात्रवृत्ति वितरण की प्रक्रिया पूरी करने का सख्त निर्देश दिया. मंत्री ने चेतावनी दी कि अगर इस अवधि में कोई सुधार नहीं हुआ, तो संबंधित अधिकारियों का जनवरी 2025 का वेतन रोक लिया जाएगा.
समाधान की ओर बढ़ते कदम
मंत्री ने स्पष्ट रूप से कहा कि जनहित और जनसेवा को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जानी चाहिए. उन्होंने अधिकारियों से आग्रह किया कि वे समस्या का नहीं, समाधान का रास्ता अपनाएं. सभी लंबित छात्रवृत्ति वितरण मामलों को 4 जनवरी तक प्राथमिकता के साथ निपटाने के निर्देश दिए गए हैं.
पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति वितरण का लक्ष्य
लिंडा ने फरवरी 2025 तक पोस्ट-मैट्रिक छात्रवृत्ति वितरण प्रक्रिया पूरी करने की दिशा में अधिकारियों को कड़ा निर्देश दिया. उन्होंने कहा कि यह राज्य सरकार की प्राथमिकता है कि एसटी और एससी छात्र-छात्राओं को शिक्षा में समान अवसर मिले, और छात्रवृत्ति समय पर वितरित की जाए ताकि विद्यार्थियों को शैक्षणिक पाठ्यक्रमों और परीक्षाओं की तैयारी में कोई रुकावट न हो.
साइकिल वितरण का महत्व
मंत्री ने साइकिल वितरण के कार्य को भी प्राथमिकता दी. उन्होंने जनवरी 2025 तक साइकिल वितरण की प्रक्रिया को पूरा करने का निर्देश दिया. साइकिल योजना का उद्देश्य कक्षा आठ तक के विद्यार्थियों की ड्रॉपआउट दर को कम करना है. उन्होंने अधिकारियों से कहा कि इस कार्य में किसी भी प्रकार की देरी नहीं होनी चाहिए और यह विभाग की प्राथमिकता होनी चाहिए.
सामाजिक बदलाव की दिशा में एक और कदम
मंत्री ने अपने संबोधन में यह भी कहा कि कल्याण विभाग का उद्देश्य आदिवासी और दलित समुदाय के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाना है. इस दिशा में किए गए प्रयासों को तेज किया जाएगा ताकि सरकारी योजनाओं का वास्तविक लाभ जरूरतमंदों तक पहुंचे.
आधिकारिक उपस्थिति
इस बैठक में विभाग के सचिव कृपानंद झा, आदिवासी कल्याण आयुक्त अजय नाथ झा और अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे.
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