उदित वाणी, जमशेदपुर: त्रिदंडी स्वामी के शिष्य तपोनिष्ठ यतिराज सुंदरराज स्वामी जी महाराज की देखरेख में 9 कुंडीय लक्ष्मी नारायण महायज्ञ का शुभारंभ 6 जनवरी को जलयात्रा के साथ जयप्रकाश उद्यान, आदित्यपुर में होने जा रहा है. यह महायज्ञ उत्तरवाहिनी खरकाई नदी के तट पर आयोजित किया जाएगा, जहां 2014 से हर वर्ष इस महायज्ञ का आयोजन हो रहा है.
जलयात्रा में शामिल होंगे श्रद्धालु
प्रेसवार्ता के दौरान महायज्ञ आयोजन समिति के अध्यक्ष ए. श्रीवास्तव और अन्य पदाधिकारियों ने बताया कि जलयात्रा सुबह 7 बजे यज्ञ स्थल से शुरू होकर पान दुकान चौक, शिव मंदिर, एस टाइप होते हुए हरिओम नगर शिव काली मंदिर तक जाएगी, जहां से पोथी लेकर श्रद्धालु वापस लौटेंगे. इस यात्रा में लगभग 3000 महिलाएं, 6 घोड़े और एक रथ पर सवार शिव परिवार की झांकियां शामिल होंगी, जो भक्तों के लिए आकर्षण का केंद्र बनेगी. रास्ते में विभिन्न स्वयंसेवी संगठनों द्वारा सेवा कार्य किए जाएंगे और जलयात्रा के बाद माताओं-बहनों के लिए जलपान की व्यवस्था भी की जाएगी.
6 जनवरी से भक्ति की गंगा में रंगेगा माहौल
6 जनवरी को दोपहर 2 बजे से शाम 5 बजे तक संगीतमय सुंदर कांड का पाठ होगा, जो माहौल को और भी भक्तिमय बना देगा. इस दिन से ही रामकथा सुनाने के लिए अयोध्या धाम से जगत गुरु सर्वेश्वराचार्य पधारेंगे, जो 9 दिनों तक श्रद्धालुओं को रामकथा सुनाएंगे.
भागवत कथा और रुद्राभिषेक का आयोजन
7 जनवरी से स्वामी जी के मुखारविंद से भागवत कथा का आयोजन होगा, जिसमें श्रद्धालु अपने विश्वास के साथ भाग लेंगे. प्रत्येक दिन रुद्राभिषेक का आयोजन भी किया जाएगा, जो विशेष रूप से भक्तों को आकर्षित करेगा.
यज्ञ का समापन 14 जनवरी को भव्य भंडारे के साथ
महायज्ञ का समापन 14 जनवरी को अववृत स्नान के बाद विशाल भंडारे के साथ होगा, जिसमें सभी श्रद्धालु भाग लेंगे. 13 जनवरी को यज्ञस्थल पर गोपालाचारी जी की पुण्यतिथि भी मनाई जाएगी.
एक अद्भुत आध्यात्मिक अनुभव
इस महायज्ञ में सभी भक्तों को एक अद्भुत आध्यात्मिक अनुभव प्राप्त होगा, जिसमें न केवल धार्मिक उन्नति होगी, बल्कि समुदाय की एकता और प्रेम की भावना भी प्रगाढ़ होगी. यह आयोजन सभी को भक्ति की गंगा में गोते लगाने का अवसर प्रदान करेगा.
प्रमुख व्यक्तियों की उपस्थिति
इस आयोजन में प्रमुख रूप से आयोजन समिति के अध्यक्ष ए श्रीवास्तव, कार्यकारी अध्यक्ष अरविंद कुमार, उपाध्यक्ष सुधीर सिंह, वरीय उपाध्यक्ष रविंद्रनाथ चौबे, शंभूनाथ सिंह, देवांग चंद्र मुखी, लखी नारायण ओझा, संजय तिवारी, अनिल तिवारी, मनोज शर्मा, शशिकांत तिवारी, मनमोहन चौबे, सुनील कुमार सिंह, जय प्रकाश मेहता, और अन्य समर्पित कार्यकर्ता उपस्थित होंगे.
इस आयोजन का एक विशेष महत्व
यह महायज्ञ सिर्फ एक धार्मिक आयोजन नहीं, बल्कि आदित्यपुर क्षेत्र के लोगों के लिए एक सामाजिक और सांस्कृतिक मिलन का अवसर भी है.
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