
उदित वाणी, रांची : बाबाधाम देवघर में इस बार राजकीय श्रावणी मेला 11 जुलाई से 9 अगस्त तक आयोजित किया जायेगा. इस अवधि में संपूर्ण मेला क्षेत्र में बेहतर तैयारियों के साथ श्रद्धालुओं की सुविधा व सुरक्षा का समुचित प्रबंध सुनिश्चित करने को लेकर देवघर परिसदन सभागार में नगर विकास एवं आवास, उच्च एवं तकनीकी शिक्षा तथा पर्यटन, कला एवं संस्कृति, खेलकूद एवं युवा कार्य विभाग के मंत्री सुदिव्य कुमार की अध्यक्षता में एक समीक्षा बैठक आयोजित की गई. बैठक के दौरान मंत्री ने तैयारी संबंधी सभी कार्यों को 5 जुलाई तक पूरी करने का निर्देश संबंधित विभागों व कार्यपालक अभियंताओं को दिया.
मेले के दौरान एआई आधारित कई आधुनिक तकनीकों का किया जायेगा प्रयोग
मेला के दौरान कई आधुनिक तकनीकों का प्रयोग किया जाएगा. जिनमें एआई आधारित इंटीग्रेटेड मेला कंट्रोल रूम, 200 एआई कैमरे, चैटबॉट आधारित हेल्पलाइन, ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम, लगभग 700 सामान्य कैमरे, 10 एआई ड्रोन, 40 टीवी स्क्रीन, फेस रिकग्निशन कैमरे, हेड काउंटिंग, उच्च गुणवत्ता वाले एएनपीआर कैमरे, क्यूआर कोड आधारित शिकायत प्रणाली और लोकेशन आधारित अटेंडेंस सिस्टम एवं डिजिटल पवेलियन शामिल है.
वीआईपी-वीवीआईपी दर्शन की नहीं होगी अनुमति
उन्होंने कहा कि मेला अवधि के दौरान आउट ऑफ टर्न दर्शन के तहत कोई भी वीआईपी या वीवीआईपी को दर्शन की अनुमति नहीं दी जायेगी. ताकि आम श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की असुविधा न हो. मंत्री ने कहा कि यह झारखंड का सबसे बड़ा मेला है और यह हम सभी की जिम्मेदारी है कि श्रद्धालु बाबा बैद्यनाथ की नगरी से सुखद अनुभव लेकर लौटें.
गर्मी व उमस से राहत के लिए मिस्ट कूलिंग व इंद्र बर्षा की होगी व्यवस्था
समीक्षा बैठक में विद्युत आपूर्ति, पथ निर्माण, नगर निगम, जनसम्पर्क, पेयजल व स्वच्छता, पर्यटन, स्वास्थ्य, भवन निर्माण और पुलिस विभागों द्वारा किए जाने वाले कार्यों की विस्तार से समीक्षा की गई. मेला क्षेत्र में पथ प्रकाश, साज-सज्जा, तोरण द्वार और वैकल्पिक प्रकाश व्यवस्था की स्थिति को भी दुरुस्त करने की बात कही गई. तीन स्थानों पर बनने वाली टेंट सिटी में आवासन की सुविधाओं को और बेहतर बनाने पर जोर दिया गया. गर्मी और उमस से राहत के लिए मिस्ट कूलिंग व इंद्र बर्षा की संख्या बढ़ाने के निर्देश दिए गए.
देवघर और बासुकीनाथ के बीच आवागमन को बनाया जायेगा सहज
देवघर और बासुकीनाथ के बीच आवागमन को सहज बनाने के लिए जिला एवं राष्ट्रीय राजमार्ग अधिकारियों को आपसी समन्वय से कार्य करने को कहा गया. श्रद्धालुओं की समस्याओं की जानकारी के लिए क्यूआर कोड आधारित फीडबैक सिस्टम को मेला क्षेत्र में बेहतर तरीके से लागू करने का निर्देश दिया गया. ताकि प्रशासन त्वरित रूप से समस्याओं का समाधान कर सके. बाबा बैद्यनाथ मंदिर से निकलने वाले जल के फिल्ट्रेशन प्लांट और फूल-बेलपत्र निष्पादन संयंत्र को मेला शुरू होने से पहले चालू करने का निर्देश नगर निगम को दिया गया. विधि व्यवस्था, सुरक्षा, भीड़ नियंत्रण अपराध नियंत्रण, वाहन पार्किंग, रूटलाइन और यातायात प्रबंधन को सुदृढ़ बनाने के निर्देश दिये गए.
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