उदित वाणी, जमशेदपुर: इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने महाकुंभ 2025 के दौरान बहुभाषी तकनीकी सहयोग प्रदान करने के लिए भाषिणी प्लेटफॉर्म का उपयोग शुरू किया है. यह आयोजन 13 जनवरी से 26 फरवरी, 2025 तक प्रयागराज में आयोजित किया जाएगा.
डिजिटल खोया-पाया समाधान: बहुभाषी नवाचार
भाषिणी का भाषा अनुवाद इकोसिस्टम ‘डिजिटल खोया और पाया समाधान’ के माध्यम से तीर्थयात्रियों की सहायता करेगा. इसके मुख्य पहलू निम्नलिखित हैं:
बहुभाषी समर्थन: स्थानीय भाषाओं में मौखिक रूप से खोई या पाई गई वस्तुओं का पंजीकरण.
रियल-टाइम अनुवाद: पाठ और ध्वनि का त्वरित अनुवाद.
चैटबॉट सहायता: प्रश्नों के उत्तर और कियोस्क नेविगेशन के लिए बहुभाषी चैटबॉट.
मोबाइल और कियोस्क एकीकरण: दिशा-निर्देशों का स्थानीय भाषाओं में अनुवाद.
पुलिस सहयोग: अधिकारियों के साथ निर्बाध संचार की सुविधा.
कुंभसहायक चैटबॉट: प्रधानमंत्री की पहल
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा लॉन्च किया गया कुंभसहायक चैटबॉट, तीर्थयात्रियों के अनुभव को सहज और उपयोगी बनाने के लिए डिज़ाइन किया गया है. यह अत्याधुनिक एआई तकनीकों द्वारा संचालित है और 11 भाषाओं में जानकारी और सहायता प्रदान करता है, जिनमें हिंदी, अंग्रेजी और अन्य भारतीय भाषाएं शामिल हैं.
यूपी 112 हेल्पलाइन के साथ भाषिणी की साझेदारी
महाकुंभ में आने वाले देशी और विदेशी श्रद्धालुओं की मदद के लिए भाषिणी एप्लीकेशन की ‘कन्वर्ज़’ सुविधा का उपयोग किया जाएगा. यूपी पुलिस की 112 आपातकालीन हेल्पलाइन टीम ने भाषिणी ऐप के माध्यम से फील्ड अधिकारियों को प्रशिक्षित किया है ताकि वे तीर्थयात्रियों की शिकायतों और जरूरतों को आसानी से समझ सकें.
समावेशी अनुभव का वादा
भाषिणी का उद्देश्य महाकुंभ में आने वाले आगंतुकों को एक समावेशी और सहज अनुभव प्रदान करना है. यह नवाचार भाषा की सीमाओं को तोड़ते हुए डिजिटल युग में आध्यात्मिक समागम का एक अनूठा दृष्टिकोण प्रस्तुत करता है.
इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय की यह पहल तकनीकी नवाचार और बहुभाषी पहुंच की दिशा में एक बड़ा कदम है. यह महाकुंभ को आधुनिक तकनीक और पारंपरिक आध्यात्मिकता का संगम बनाती है.
उदित वाणी टेलीग्राम पर भी उपलब्ध है। यहां क्लिक करके आप सब्सक्राइब कर सकते हैं।