- खाद्य सुरक्षा पदाधिकारी ने लिया खाद्यान्न का सैंपल
- स्वास्थ्य विभाग की टीम ने की ग्रामीणों की स्वास्थ्य जांच
उदितवाणी, चाईबासा: पश्चिमी सिंहभूम जिले के नोवामुंडी प्रखंड स्थित नयागांव स्कूल में मध्याह्न भोजन (एमडीएम) खाने से बच्चों की तबीयत बिगड़ने का मामला तूल पकड़ता जा रहा है. अब तक 21 बच्चे फूड प्वाइजनिंग के शिकार हो चुके हैं, जिनमें से 20 अस्पताल में भर्ती हैं. दुखद रूप से एक बच्ची की मौत हो चुकी है.
प्रशासन हरकत में, जांच तेज
घटना के बाद जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग ने स्थिति की गंभीरता को देखते हुए त्वरित कार्रवाई शुरू कर दी है. जिला शिक्षा अधीक्षक (DSE) प्रवीण कुमार ने नोआमुंडी के प्रखंड शिक्षा प्रसार पदाधिकारी सुदामय साहू के साथ स्कूल का निरीक्षण किया. उन्होंने विद्यालय के प्रधान शिक्षक वीरेंद्र नाथ महतो से मध्याह्न भोजन, पाकशाला और पेयजल की व्यवस्थाओं की जानकारी ली.
खाद्य सुरक्षा टीम ने लिया सैंपल
जिला खाद्य सुरक्षा पदाधिकारी अभिषेक आनंद भी जांच के लिए स्कूल पहुंचे. उन्होंने मिड-डे मील में इस्तेमाल किए गए चावल, दाल, तेल, मसालों सहित अन्य खाद्य सामग्रियों की जांच की और सैंपल संग्रहित किए. उन्होंने बताया कि सैंपल को विस्तृत परीक्षण के लिए रांची भेजा जाएगा.
ग्रामीणों की भी हुई स्वास्थ्य जांच
स्वास्थ्य विभाग की टीम ने डॉ. प्रिंस पिंगुवा के नेतृत्व में गांव में विशेष चिकित्सा शिविर लगाया. इस दौरान पाँच नर्सों और एक फार्मासिस्ट की मदद से ग्रामीणों का स्वास्थ्य परीक्षण किया गया. अब तक 141 लोगों को दवा दी गई है.
बढ़ रही है चिंता, स्कूल में पसरा सन्नाटा
नयागांव स्कूल में कुल 36 बच्चे पढ़ते हैं, जिनमें से 21 बच्चे इस फूड प्वाइजनिंग की चपेट में आ चुके हैं. घटना के बाद से बच्चे स्कूल जाने से डर रहे हैं. अभिभावकों की चिंता बढ़ गई है और वे प्रशासन से ठोस कार्रवाई की मांग कर रहे हैं.
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