उदित वाणी, चाईबासा: पश्चिमी सिंहभूम जिले में पिछले तीन महीनों से अफीम की अवैध खेती के खिलाफ जिला प्रशासन और पुलिस द्वारा अभियान चलाया जा रहा है. इसी के तहत मंगलवार को जिले के उपायुक्त कुलदीप चौधरी और पुलिस अधीक्षक आशुतोष शेखर ने बंदगांव थाना क्षेत्र के टोकदा गांव में अफीम की फसल को नष्ट करने के लिए स्वयं कदम उठाया.
जागरूकता अभियान और फसल विनष्टकरण
इस अवसर पर ग्रामीणों को अफीम की अवैध खेती से होने वाले दुष्प्रभावों के बारे में जागरूक किया गया. साथ ही उन्हें पारंपरिक खेती, बागवानी और पौधारोपण के लिए प्रेरित किया गया. प्रशासन ने गरमा धान बीज, फलदार पौधे और अन्य बीजों का वितरण भी किया. जो ग्रामीण अफीम की फसल को स्वेच्छा से नष्ट करने में सहयोग कर रहे थे, उन्हें प्रशस्ति पत्र प्रदान कर प्रोत्साहित किया गया.
प्रशासन और पुलिस का संयुक्त प्रयास
जागरूकता कार्यक्रम के बाद उपायुक्त और पुलिस अधीक्षक के नेतृत्व में पुलिस बल और वन रक्षियों ने बंदगांव के टिमड़ा गांव और आसपास के क्षेत्रों में लगभग 20 एकड़ भूमि पर फैली अफीम की फसल को नष्ट किया. उपायुक्त ने कहा कि मुख्यमंत्री के निर्देश पर राज्यभर में अफीम की अवैध खेती के खिलाफ अभियान जारी रहेगा और संलिप्त लोगों के खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी.
अब तक 500 एकड़ में नष्ट हुई फसल
पुलिस अधीक्षक ने बताया कि अब तक जिले में लगभग 500 एकड़ में लगी अफीम की फसल को पूरी तरह से नष्ट किया जा चुका है. इस अभियान के तहत 5 लोगों की गिरफ्तारी की गई है और 16 एफआईआर भी दर्ज किए गए हैं. पुलिस प्रशासन और वन विभाग की टीम लगातार इस अभियान को आगे बढ़ा रहे हैं और ग्रामीणों को अफीम की खेती के दुष्प्रभावों से अवगत करा रहे हैं.
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