उदित वाणी, जमशेदपुर: गोवा में आयोजित 55वें भारतीय अंतरराष्ट्रीय फिल्म महोत्सव (IFFI) में फिल्म निर्देशक इम्तियाज अली ने अपने महत्वपूर्ण विचार साझा किए. उन्होंने कहा कि सिनेमा समाज में बदलाव लाने का एक शक्तिशाली माध्यम है. उनका एक वीडियो मिनिस्ट्री ऑफ इनफॉर्मेशन ब्यूरो ने “X” पर शेयर किया जिसमे अली ने IFFI की सराहना करते हुए कहा है कि यह फिल्म उद्योग, सरकार, कलाकारों और दर्शकों का एक शक्तिशाली संगम है. संस्कृति के लिए एक जीवंत स्थान, यह जुड़ने, बातचीत करने और विचारों का आदान-प्रदान करने के लिए एक अद्भुत मंच है.
जमशेदपुर में जन्मे इम्तियाज अली ने महिला सुरक्षा और सिनेमा पर चर्चा में भाग लिया, जहां उन्होंने सुहासिनी मनिरत्नम और कुशबू सुंदर के साथ अपने विचार साझा किए. उन्होंने कहा कि फिल्म निर्माताओं को समाज में महिलाओं की स्थिति को दर्शाने और उनके अधिकारों के लिए आवाज उठाने की जरूरत है.
IFFI के इस वर्ष के विषय “युवा फिल्म निर्माता – भविष्य अब है” पर बोलते हुए, इम्तियाज अली ने कहा कि युवा फिल्म निर्माताओं को अपनी कहानियों को सिनेमा के माध्यम से दुनिया के सामने लाने का अवसर मिलना चाहिए.
इस महोत्सव में, इम्तियाज अली की फिल्में और उनके योगदान पर विशेष चर्चा हुई. उनकी फिल्में अक्सर प्रेम, पहचान और समाज में युवाओं की चुनौतियों पर बेस्ड होती है.
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