उदित वाणी, गालूडीह : गालूडीह थाना क्षेत्र के बिरिहीगोडा में 20 मई 2023 को हुई एक घटना की पुनरावृत्ति उस समय हो सकती थी, जब पुलिस समय पर नहीं पहुंची होती. पीलर गाड़ने के दौरान विवाद और गाली-गलौज हो सकता था, जिससे मामला और बढ़ सकता था. इस जमीन पर वर्ष 2023 में सीमांकन को लेकर जबरदस्त हंगामा हुआ था और इसके बाद धारा 144 लागू कर दी गई थी, जो अभी भी बरकरार है.
भूमि विवाद का इतिहास
बताया जा रहा है कि यह भूमि मनोरंजन भुमिज की रैयती भूमि है, लेकिन पिछले 60-70 वर्षों से महतो परिवार इस पर कब्जा जमाए हुए है. इस मामले में कोर्ट में भी मामला विचाराधीन है. बुधवार को भुमिज मुंडा युवा आदिवासी एकता मंच झारखंड दिशोम के सदस्यों ने अपनी नेता बासंती सिंह और सीता सिंह के साथ इस भूमि का सीमांकन शुरू किया.
महतो परिवार का विरोध
इसके बाद महतो परिवार के सदस्य जैसे जगदीश महतो, नगेन्द्र महतो, गोरा चंद महतो, शकुंतला महतो, जोबा महतो और संध्या महतो ने इसका विरोध किया और गालूडीह थाना के एएसआई जितेन्द्र कुमार को इसकी जानकारी दी. पुलिस दल बल के साथ मौके पर पहुंची और पीलर गाड़ने से रोका. दोनों पक्षों को गालूडीह थाना बुलाया गया, जहां मामले की विस्तृत जानकारी ली गई.
दोनों पक्षों की ओर से अलग-अलग तर्क
मनोरंजन भुमिज के परिवार का कहना है कि उनकी 5 एकड़ 47 डिसमिल जमीन है, जहां उनका घर बना हुआ है. उनका कहना है कि जो बची हुई जमीन है, उसे उन्हें कब्जे में दे दिया जाए. वहीं, महतो परिवार का कहना है कि वे इस भूमि पर 60-70 वर्षों से रह रहे हैं और कोर्ट में मामला विचाराधीन है. उनका कहना है कि कोर्ट का फैसला आएगा, तो वे जमीन खाली कर देंगे.
भू-समीकरण दिवस पर बैठक
इसके बाद, पूरे मामले को समझते हुए दोनों पक्षों को बुधवार को भुमि समाधान दिवस पर बुलाया गया, जहां सीओ के पास मामले को रखने की बात की गई.
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