उदित वाणी, जमशेदपुर: वीर शहीद निर्मल महतो झारखंड आंदोलन के अग्रदूत और राज्य के सर्वाधिक सम्मानित जननायकों में से एक थे. उन्होंने झारखंड के आदिवासी और मूलवासी समुदायों के हक और अधिकारों के लिए अपने जीवन को समर्पित कर दिया. उनका योगदान झारखंड को अलग राज्य का दर्जा दिलाने के संघर्ष में एक अमिट अध्याय के रूप में दर्ज है.
प्रारंभिक जीवन
निर्मल महतो का जन्म 25 दिसंबर 1950 को झारखंड के जमशेदपुर में हुआ. एक साधारण परिवार से होने के बावजूद, उन्होंने अपनी मेहनत और संकल्प से संघर्ष का मार्ग चुना. उनका जीवन आदिवासी समाज की समस्याओं को समझने और उन्हें दूर करने के लिए समर्पित रहा.
झारखंड आंदोलन में भूमिका
निर्मल महतो झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) के प्रमुख नेताओं में से एक थे. उन्होंने सामाजिक और राजनीतिक आंदोलनों के माध्यम से झारखंड क्षेत्र के लोगों के आत्मसम्मान, संस्कृति और पहचान की रक्षा की. वे भूमि अधिग्रहण, विस्थापन और शोषण के खिलाफ मुखर आवाज बने.
संघर्ष और शहादत
15 अगस्त 1987 को, झारखंड आंदोलन के इस महानायक की हत्या कर दी गई. उनकी शहादत ने झारखंड आंदोलन को और तेज कर दिया और उनके सपनों को साकार करने के लिए लोगों में नई ऊर्जा का संचार किया.
विरासत
निर्मल महतो का योगदान झारखंड के हर कोने में देखा जा सकता है. उनके नाम पर कई स्थान, चौक और संस्थान हैं जो उनकी स्मृति को जीवंत रखते हैं. झारखंड आंदोलन में उनके बलिदान ने उन्हें अमर बना दिया.
प्रेरणा स्रोत
निर्मल महतो आज भी झारखंड के लोगों के लिए प्रेरणा का स्रोत हैं. उनके जीवन से हमें संघर्ष, आत्मसम्मान और समाज के प्रति निष्ठा की शिक्षा मिलती है.
“झारखंड के सपूत निर्मल महतो का संघर्ष और बलिदान हमें हमेशा प्रेरित करता रहेगा.”
मुख्यमंत्री ने दी श्रद्धांजलि
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने झारखंड आंदोलन के प्रखर नेता वीर शहीद निर्मल महतो की 74वीं जयंती पर उन्हें भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की. रांची के शहीद निर्मल महतो चौक स्थित उनकी प्रतिमा पर माल्यार्पण करते हुए सीएम ने झारखंड आंदोलन में उनके योगदान को स्मरण किया और उनके आदर्शों पर चलने का आह्वान किया.
सोशल मीडिया पर नमन
मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर ट्वीट किया, उन्होंने वीर शहीद निर्मल महतो को झारखंड आंदोलन का महानायक बताते हुए लिखा, “झारखंड की क्रांतिकारी भूमि के वीर सपूत, महान आंदोलनकारी वीर शहीद निर्मल महतो जी की जयंती पर शत-शत नमन.”
उदित वाणी टेलीग्राम पर भी उपलब्ध है। यहां क्लिक करके आप सब्सक्राइब कर सकते हैं।